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पल्स पोलियो अभियान की तर्ज पर प्रभावित जिलों में डोर टू डोर चलाया जाय स्क्रीनिंग अभियान:- मुख्यमंत्री

16 अप्रैल से स्क्रीनिंग अभियान चलाया जायेगा

पूरे देश में इस तरह का अभियान चलाने वाला बिहार पहला राज्य है

जहाॅ कोरोना संक्रमित पाये गये हैं, एपीसेंटर मानते हुये उसकी 3 किलोमीटर की परिधि की भी डोर टू डोर स्क्रीनिंग करायें

प्रधान संपादक/सरफराज आलम

पटना, 14 अप्रैल 2020:- मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार ने 1 अणे मार्ग में कोरोना संक्रमण से बचाव के लिये किये जा रहे कार्यों के संबंध में मुख्य सचिव एवं प्रधान सचिव स्वास्थ्य के साथ गहन समीक्षा की।

समीक्षा के क्रम में मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि कोरोना संक्रमितों को चिन्हित करने के लिये पल्स पोलियो अभियान की तर्ज पर प्रभावित जिलों- सीवान, बेगूसराय, नालंदा और नवादा में डोर टू डोर स्क्रीनिंग अभियान चलाया जाय। इन जिलों के सीमावर्ती जिलों में भी जो क्षेत्र प्रभावित है, वहाॅ भी डोर टू डोर स्क्रीनिंग अभियान चलाया जाय। अब तक जो कोरोना के 66 पाॅजिटिव केस पाये गये हैं, उन मरीजों के रहने वाले क्षेत्रों को एपीसेंटर मानते हुये उसके 3 किलोमीटर की परिधि की भी डोर टू डोर स्क्रीनिंग करायें। 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है और उनलोगों की स्क्रीनिंग भी ठीक से करायी जाय। मुख्यमंत्री ने कहा कि 1 से 23 मार्च तक राज्य में बाहर से आने वाले सभी लोगों की भी घर-घर तक स्क्रीनिंग करायी जाय। जो भी चिकित्सकीय स्टाफ जाॅच के लिये जाते हैं, उनकी सुविधा और सुरक्षा का ख्याल रखें। इस अभियान के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग का पालन हो।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सार्वजनिक स्थलों पर थूकना ठीक नहीं है, इससे संक्रमण का खतरा बढ़ता है। इस बात के लिये लोगों को जागरूक एवं प्रेरित करें।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना संक्रमितों को चिन्हित करने के लिये पल्स पोलियो अभियान की तर्ज पर प्रभावित जिलों में डोर टू डोर स्क्रीनिंग अभियान 16 अप्रैल से शुरू करें। स्क्रीनिंग अभियान के लिये कार्यक्रम की रूप रेखा तैयार कर जाॅच करने वाले कर्मियों को पूरी टेªनिंग दी जाय।

प्रधान सचिव स्वास्थ्य ने बताया कि दो-दो लोगों की टीम बनाकर यह जाॅच करायी जायेगी। उसके ऊपर एक सुपरवाइजर होंगे, जो स्क्रीनिंग किये लोगों की लिस्ट बनाकर संबंधित प्रखण्ड में जमा करेंगे और प्रखण्ड स्तर पर इसकी सूची तैयार की जायेगी। जिनमें कोरोना संक्रमण के लक्षण पाये जायेंगे, उन्हें प्रखण्ड स्तर पर बने क्वारंटाइन सेंटर में रखा जायेगा। स्क्रीनिंग के लिये जाने वाले कर्मियों को थ्री प्लाई मास्क, ग्लब्स दिये जायेंगे और उनकी सुरक्षा का ख्याल रखा जायेगा। प्रधान सचिव स्वास्थ्य ने कहा कि पूरे देश में इस तरह का अभियान चलाने वाला बिहार पहला राज्य होगा।

मुख्यमंत्री ने लोगों से अपील की कि स्वास्थ्य सेवा में लगे फ्रंटलाइन वर्करों के साथ किसी प्रकार का दुव्र्यवहार न करें। ये लोग प्रतिदिन जान जोखिम में डालकर देश और समाज के लिये काम कर रहे हैं। हम सभी का दायित्व है कि इन सभी का उत्साह बढ़ाते रहें। सभी को इनकी सुविधाओं एवं सुरक्षा का ध्यान रखना हेागा। मुख्यमंत्री ने लोगों से अपील की कि कोरोना संक्रमण को लेकर फैल रहे अफवाहों पर ध्यान नहीं दें। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश देते हुये कहा कि लोगों तक सही जानकारी पहुॅचायें और यह सुनिश्चित करें कि सामाजिक सद्भाव बना रहे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि लोग लाॅकडाउन का अनुशासन बनाये रखें एवं सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें। कोरोना संक्रमण से उत्पन्न स्थिति से निपटने के लिये सरकार हरसंभव कदम उठा रही है। लोग अपने घरों में रहें और सरकार के दिये गये निर्देशों का पालन करें। लोग घबराये नहीं, अपने घरों में सुरक्षित रहें। उन्होंने लोगों से अपील की कि जब भी कठिन समय आया है, हमलोगों ने मिल-जुलकर मुकाबला किया है। मुझे पूरी उम्मीद है कि इस बार भी आप सबके सहयोग से कोरोना महामारी से निपटने में सक्षम होंगे।

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