प्रियांशु कुमार समस्तीपुर बिहार
समस्तीपुर: लोहिया आश्रम समस्तीपुर में जिला जनता दल यूनाइटेड कार्यकारिणी की बैठक जिला अध्यक्ष सह पूर्व सांसद अश्वमेध देवी की अध्यक्षता में हुई। जिसका संचालन जिला प्रधान महासचिव प्रोo तकी अख्तर ने किया। जिसमें निम्नलिखित चर्चाएं एवं प्रस्ताव पारित हुए। जनता दल यूनाइटेड पार्टी के सर्वमान्य नेता और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने एक कर्मचारी पर भरोसा और विश्वास करके दो बार राजसभा भेजा। पार्टी का राष्ट्रीय महासचिव (संगठन) बनाकर संगठन की जिम्मेवारी दी। इसके साथ ही पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाकर पार्टी का मालिक बना दिया। लेकिन मुख्यमंत्री का यह कर्मचारी खुद उनके ही पीठ में खंजर भोकता रहा और पार्टी को कमजोर करता रहा। जिसका उदाहरण है कि 2010 के विधानसभा चुनाव में जब रामचंद्र प्रसाद सिंह नौकरी कर रहे थे तो पार्टी के 117 विधायक निर्वाचित हुए थे और 2010 के बाद ही पार्टी ने श्री रामचंद्र प्रसाद सिंह को राज्यसभा भेजकर पार्टी का राष्ट्रीय महासचिव (संगठन) बनाया। तबसे पार्टी का विधानसभा में संख्या बल घटता गया। वर्ष 2015 में 71 विधायक और वर्ष 2020 में मात्र 43 विधायक ही जीत कर आये। इस तरह रामचंद्र प्रसाद सिंह के नेतृत्व में संगठन लगातार कमजोर होता चला गया और यह मुख्यमंत्री के आंखों में धूल झोंककर पार्टी के साथ विश्वासघात कर पार्टी को कमजोर करते रहे।
जब मुख्यमंत्री की नजर में इनका भंडाफोड़ हो गया और इनको राज्यसभा एवं केंद्रीय मंत्रिमंडल से बाहर होना पड़ा तब से ये जल बिन मछली की तरह तड़प रहे हैं। यह श्रीमान इतिहास के विद्यार्थी रहे हैं। जिस तरह भारत के इतिहास में जयचंद और मीर जाफर गद्दारी के स्थापित प्रतीक हैं उसी तरह इन्होंने भी जदयू के सर्वमान्य नेता नीतीश कुमार
के साथ वैसा ही किया है। इतिहास गवाह है कि ऐसे भीतरघातियो को कहीं भी शरण नही मिली है। जदयू के कार्यकर्ताओं, समर्थकों एवं बिहार के आम – आवाम की नजर में यह भी जयचंद और मीर जाफर ही कहलाएंगे। समस्तीपुर जिला जनता दल यूनाइटेड कार्यकारिणी सर्वसम्मति से ऐसे विश्वासघाती, भीतरघाती एवं एहसान फरामोश रामचंद्र प्रसाद सिंह की भर्त्सना करता है तथा सार्वजनिक रूप से एलान करता है कि सौ – सौ जन्म लेकर भी रामचंद्र प्रसाद सिंह उर्फ आरसीपी सिंह कभी भी नीतीश कुमार नहीं हो सकते।