प्रियांशु कुमार समस्तीपुर बिहार
समस्तीपुर शहर का भोला टॉकिज रेल गुमती पर आरओबी निर्माण में एक बार फिर डीपीआर तैयार किया जाएगा। रेलवे एवं राज्य सरकार के बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड (बीआरपीएनएनएल) के बीच वर्षों से पेंच चल रहा है।
जिसके कारण कई बार डीपीआर बनाया गया। कई बार नक्शा बनाया गया। कई बार जमीन की मापी की गयी। लेकिन धरातल पर आरओबी निर्माण के लिए अब तक कार्य भी शुरु नहीं किया गया है। जिसके कारण शहर में जाम की समस्या बरकरार रखनें में भोला टॉकिज रेल गुमती का अहम योगदान है।
बावजूद जिला प्रशासन एवं रेल प्रशासन के द्वारा ठोस निर्णय लेकर इसपर आज तक ठोस पहल नहीं किया गया है। ताजा मामला यह है कि अब आरओबी निर्माण के लिए फिर से डीपीआर तैयार किया जा रहा है। इसकी जिम्मेदारी बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड की है।
पिछले दिनों रेलवे संसदीय समिति की बैठक में भी भोला टॉकिज गुमती पर आरओबी निर्माण की मांग उठायी गयी। लेकिन हर बार ही तरह इस बार भी रेलवे ने इस कार्य को कराने के लिए प्रयत्नशील होने की बात कह कर अपना पल्ला झाड़ लिया। नतीजतन आरओबी निर्माण शुरु कब से होगा, इसमें स्पष्ट मंतव्य देने से रेल प्रशासन बचते रहे और फिर से डीपीआर तैयार किए जाने की जानकारी दी। वहीं जमीन के पेंच में भी वर्षों से इस योजना को गति नहीं दिया जा रहा है।
आरओबी का पुल निर्माण निगम को मिली है अनुमति :
समस्तीपुर – मुजफ्फरपुर रेलखंड पर शहर के भोला टॉकिज गुमती पर स्थित समपार फाटक संख्या 53ए पर आरओबीका कार्य स्वीकृत है। आरओबी निर्माण की स्वीकृति मिले लगभग एक दशक होने वाला है। निर्माण को लेकर कई वर्षों तक रेल एवं बिहार सरकार के बीच पेंच फंसा रहा। अब बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड द्वारा ही आरओबी का निर्माण किया जाना है। इसके लिए रेलवे की तरफ से जीएडी का अनुमोदन कर बीआरपीएनएनएल को सुपुर्द भी कर दिया गया। जिसके बाद बीआरपीएनएनएल के द्वारा इसका फिर से डीपीआर तैयार किया जा रहा है।
कई संगठन कर चुका है आंदोलन:
भोला टॉकिज रेल गुमती पर आरओबी निर्माण को लेकर कई संगठनों के द्वारा लगातार आंदोलन किया गया है। इस कड़ी में गुमती जाम, जुलूस, धरना-प्रदर्शन, पोस्टकार्ड लिखना सहित अन्य आंदोलन किया गया है। विधानसभा से लेकर संसद तक आवाज भी उठायी गयी है। हर वर्ष बजट में कुछ राशि भी दी जाती है। लेकिन अब तक निर्माण कार्य शुरु नहीं हो पायी है।
बजट में मिला था एक करोड़ की राशि:
आरओबी निर्माण के लिए हर वर्ष आम बजट में इसकों शामिल किया जाता है। योजना को जीवित रखने के लिए बजट में कुछ राशि भी दी जाती है। इस वर्ष भी आरओबी निर्माण के लिए एक करोड़ की राशि बजट में दी गयी। लेकिन आज भी शहर के लोगों का यक्ष प्रश्न यह है कि आखिर निर्माण कब तक शुरु होगा, या फिर हर चुनाव में नेता इसे वोट बैंक के रुप में ही उपयोग करेंगे।
हर दस मिनट पर बंद होता है गुमती:
समस्तीपुर-मुजफ्फरपुर रेलखंड पर डबल रेल लाइन है। इसके कारण अप एवं डाउन दोनों ट्रैक पर ट्रेनों का परिचालन होता है। औसतन हर दस मिनट पर भोला टॉकिज रेल गुमती को बंद कर दिया जाता है। ताकि ट्रेनों का परिचालन समुचित ढंग से हो सके। गुमती बंद होते ही ताजपुर रोड व पूसा रोड में वाहनों की लंबी कतार लग जाती है। जिसके कारण ताजपुर रोड में दिन भर महाजाम की स्थिति रहती है। जाम के कारण स्कूली बच्चों या एंबुलेंस घंटों फंसा रहता है। गुमती बंद व जाम के कारण चंद कदम की दूरी तय करना किसी मुसिबत से कम नहीं है। बावजूद केवल आवश्वासन ही दिया जा रहा है।