संवादाता संझौली, सोनू कुमार।
ठंड से जन जीवन अस्त-व्यस्त हो गया हैं। कंपन पाने वाली ठंड से लोग घरों में दुबकने के लिए विवश हैं। शहर बाजार के चौक चौराहा या गांव की गलियों में लोग अलाव जलाकर ठंड से बचाव करने की कोशिश कर रहे हैं। ठंड से बचाव के लिए अलाव ही सहारा बना हैं। अलाव जलाने के लिए युवक वृद्ध बच्चे कही फसलों की पराली तो कही कागज, टायर व लकड़ी के टुकड़े जला रहे हैं। गृहणी संजू देवी, सुभांति कुमारी, गुड़िया देवी, सोनी देवी आदि ने बताया ने की कुछ साल पूर्व कोयले, लकड़ी व गोबर से बने उपले जलाकर चूल्हा पर भोजन पकाया जाता था।उसी चूल्हे से निकलने वाली आग से ठंड से राहत भी मिलती थी। लेकिन, गैस चूल्हा पर भोजन बनाने के कारण वह लाभ नही मिल पा रहा हैं।