पीएमओ की चिट्ठी लेकर दरवाजे- दरवाजे इंसाफ की गुहार लगा रही इकलौते बेटे की मां। भटकती मां कभी अपने बेटे पर फक्र करती थी और बड़े अदब से लोगों को बताती थी कि मेरा बेटा पत्रकार है और दूसरों की समस्या को जोर-शोर से उठाता है और उसी मां का पत्रकार बेटा हत्या के आरोप में पिछले लगभग 3 वर्षों से जेल में बंद है और इंसाफ के लिए मां बेहाल है। बता दे शिव नारायण यादव (पत्रकार) पटना से सटे मनेर थाना इलाके के ग्यासपुर पंचायत के सहालीचक के रहने वाले है। यह अलीशान कार्यालय मां ने अपनी जमीन बेचकर अपने पत्रकार बेटे के लिए बनवाया था। इसी कार्यालय में शिव नारायण यादव उर्फ सुपन यादव न्यूज़ 4 पंचायत वेब पोर्टल के माध्यम से संचालित करते थे और परिवार के साथ खुशहाल जीवन जी रहे थे। तभी उनके ऊपर भोजपुर थाना में कांड संख्या- 11/2017 एवं 12/2017 और दानापुर थाना में कांड संख्या- 210/2017 के तहत पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। जेल जाने के बाद उनकी बूढ़ी मां ने इंसाफ के लिए हर एक उस दरवाजा को खटखटाया जिससे उसे इंसाफ की उम्मीद थी पर उसे कहीं से इंसाफ मिलता दिखाई नहीं पड़ा। उसके बाद अपने आसपास के लोगों की मदद से पीएमओ कार्यालय चिट्ठी भेजकर इंसाफ की मदद की मांग की। 17/06/2017 उन्हें पीएमओ कार्यालय से एक पत्र मिला और उस पत्र की प्राप्ति के बाद बूढ़ी मां की आंखों में इंसाफ की ज्योति दिखलाई दी है। परिवार आज फटेहाल जीवन जीने पर मजबूर है। बेटा-बेटी पत्नी आज दाने-दाने को मोहताज है। बेटे और बेटी की पढ़ाई भी छूट गई है। परिवार और बूढ़ी मां सीबीआई मामले जांच की मांग कर रही है। ताकि सत्य सामने आ सके। इन्हें अंतिम उम्मीद सीबीआई जांच और मीडिया के ऊपर कायम है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि पीएमओ कार्यालय से प्राप्त पत्र से इस मां को इंसाफ मिल पाएगा या नहीं।